रत को दो क्षेत्रों में विभाजित किया गया था, एक सीधे ब्रिटिश शासन के तहत
स्वतंत्रता के समय 'भारत' के अन्तर्गत तीन तरह के क्षेत्र थे-
- (१) 'ब्रिटिश भारत के क्षेत्र' - ये लंदन के इण्डिया आफिस तथा भारत के गवर्नर-जनरल के सीधे नियंत्रण में थे।
- (२) 'देशी राज्य' (Princely states)
- (३) फ्रांस और पुर्तगाल के औपनिवेशिक क्षेत्र (चन्दननगर, पाण्डिचेरी, गोवा आदि)
इन सभी क्षेत्रों को एक राजनैतिक इकाई के रूप में एकीकृत करना भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का घोषित लक्ष्य था। भारत सरकार ने समय के साथ इन लक्ष्यों को कमोबेश हासिल किया।
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